बल्डिंग मिसयूज वायलेशन चार्ज बढ़ाये जाने पर लोगों को आपत्ति
बल्डिंग मिसयूज वायलेशन चार्ज बढ़ाये जाने पर लोगों को आपत्ति
-चंडीगढ़ बिजनेस कौंसिल सहित विभिन्न आरडब्लयूए, होटल व रेस्टोरेंट एसोसिएशन, फॉस्वेक, चंडीगढ़ व्यापार मंडल व उद्योगपतियों सहित आम लोग प्रस्ताव के विरोध में
प्रशासन बिल्डिंग मिसयूज वायलेशन चार्ज को 500 रुपये से बढ़ाकर 400 गुणा यानि 2 लाख करने जा रहा, प्रस्ताव पर मांगे है सुझाव
चंडीगढ़, 9 अप्रैल (साजन शर्मा)
बिल्डिंग मिसयूज वायलेशन चार्ज 500 रुपये से 400 गुणा बढ़ाकर दो लाख से भी ज्यादा करने के विरोध में विभिन्न एसोसिएशनें शनिवार को एक होटल में जुटी और उन्होंने प्रशासन के रेट बढ़ाये जाने के प्रस्ताव का जोरदार विरोध किया। प्रशासन ने कुछ दिन पूर्व एक पब्लिक नोटिस निकाला है जिसमें व्यापारियों व अन्य लोगों की राय मांगी गई है कि इस पर उनका क्या सोचना है। चंडीगढ़ बिजनेस कौंसिल, शहर की विभिन्न रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशनें, होटल व रेस्टोरेंट एसोसिएशन, फॉस्वेक, चंडीगढ़ व्यापार मंडल, अन्य ट्रेड वेलफेयर बॉडीज जुटी जिन्होंने प्रशासन के इस फैसले का विरोध करने का फैसला किया। मीटिंग में फैसला हुआ कि पहले तो प्रशासन को अपनी राय व इस मुद्दे पर अपने ऑब्जेक्शन रखेंगे। अगर न मानें तो इन्हें शहर के प्रमुख लीडरों व सांसद इत्यादि तक पहुंचाया जाएगा। तब भी न मानें तो कैंडल मार्च का सिलसिला चलाया जाएगा। कार रैली के जरिये भी लोगों को जागरुक किया जाएगा ताकि उन्हें पता चल सके कि प्रशासन कितना खतरनाक मसौदा शहरवासियों के लिए लेकर आ रहा है।
चंडीगढ़ बिजनेस कौंसिल के अध्यक्ष चंद्र वर्मा ने बताया कि बिल्डिंग मिसयूज वायलेशन के पहले कैपिटल आफ पंजाब, डेवलपमेंट एंड रेगुलेशन एक्ट में अधिकतम महज 500 रुपये पैनेल्टी व 20 रुपये रोज पैनेल्टी के हुआ करते थे। अब प्रशासन ने इसमें संशोधन का ड्राफ्ट तैयार किया है। इसे 400 गुणा बढ़ाकर पैनेल्टी 2 लाख से भी ऊपर करने की तैयारी है। प्रतिदिन की पैनेल्टी सीमा भी 8 हजार रुपये की जा रही है। जो पैनेल्टी पहले 20 रुपये प्रति फीट के हिसाब से ली जा रही थी उसे अब 8 हजार रुपये प्रति फिट किया जा रहा है। इसका पब्लिक नोटिस प्रशासन ने निकाला है जिसका वह विरोध कर रहे हैं। चंद्र वर्मा के मुताबिक लोगों पर प्रशासन के इस फैसले का क्या असर पड़ेगा यह तो आने वाला वक्त बतायेगा लेकिन प्रशासन के अफसर मनमाने फैसले कर रहे हैं। लोगों से प्रशासन ने दस दिन के भीतर सुझाव व आब्जेक्शन मांगे हैं। इसके बाद ही इसे नोटीफाई किया जा सकेगा। बता दें कि प्रशासन ने 2007 में 10 रुपये से बढ़ाकर पैनेल्टी 500 रुपये प्रति स्कावायर फीट की थी। शहर के बहुत से कारोबारियों व उद्योगपतियों और व्यापारियों को करोड़ों रुपये के नोटिस भेजे गए थे। मध्यमार्ग व सेक्टर 34 के एरिया में सबसे ज्यादा नोटिस भेजे गए थे। फिलहाल 6 रुपये प्रति स्कवायर फिट प्रतिदिन के हिसाब से कामर्शियल व इंडस्ट्रियल बिल्डिंग पर पैनेल्टी लगती है जबकि रेजीडेंशियल बिल्डिंग पर 4 रुपये प्रति स्कवायर फिट के हिसाब से पैनेल्टी लगती है। चंद्र वर्मा के मुताबिक यह मसौदा जो प्रशासन ने तैयार किया है वह बिलकुल ही गलत है।